वन्यप्राणियों के रहवास एवं संरक्षण वर्तमान समय की प्राथमिकता
रतलाम
24/sept/2024
रतलाम ब्यूरो चीफ कृष्णकांत मालवीय
रतलाम. कम होते जा रहे वनों के कारण वन्य प्राणियों के जीवन का संकट बड़ता जा रहा है। अनेक वन्य जीव विलुप्त होते जा रहे है, ऐसे समय में वन्यप्राणियों के रहवास एवं संरक्षण पर ध्यान देना वर्तमान समय की प्राथमिकता हो गई है। यह विचार रतलाम जिले के सैलाना परिसर में आयोजित वन्यप्राणी रहवास एवं संरक्षण कार्यशाला को सम्बोधित करते हुए वनपरिक्षेत्राधिकारी सीमा सिंह ने व्यक्त किये। कार्यशाला में वन मंडलाधिकारी नरेश कुमार दोहरे ने अपने उद्बोधन में ग्रामीणों से आव्हान किया कि वन हमारी धरोहर है इसकी सुरक्षा करेंगे तो वन्यप्राणियों का रहवास एवं संरक्षण भी सुरक्षित कर सकेंगे। इसलिए प्रत्येक वनवासी भाई अपनी भूमिका तय करें। सामाजिक कार्यकर्ता एवं एडवोकेट कान्तीलाल राठौड़ ने कहा कि विकास के नाम पर वनो का क्षेत्र कम होता जा रहा है जिससे वन्यप्राणी विलुप्त होते जा रहे है। खरमोर अभ्यारण्य होते हुए भी पिछले कुछ वर्षो से एक भी पक्षी देखने में नहीं आया है। सहायक जेल अधिक्षक भीमसिंह रावत, तेन्दुपत्ता समिति अध्यक्ष शम्भु मईड़ा, सरपंच जमनाबाई ने भी अपने विचार रखे। इस अवसर पर ग्रामीणों सहित क्षैत्रिय वन विभाग स्टाफ उपस्थित रहा । कार्यशाला का संचालन रमेश पन्नु ने व नारायण कटारा ने सभी आगन्तुकों के प्रति आभार माना।